Report By:आदित्य कुमार वर्मा (बलिया)
उत्तर प्रदेश: एक तरफ जहां देश की राजधानी दिल्ली में अपनी मांगों को लेकर किसान सड़कों पर है और केंद्र सरकार उनसे बातचीत करके उनकी समस्याओं का निवारण कराने का दम भर रही है। वहीं दूसरी तरफ सूबे की योगी सरकार के परिवहन राज्यमंत्री दया शंकर सिंह ने आंदोलन कर रहे किसानों को लेकर एक विवादित बयान दे डाला है । परिवहन मंत्री दयंशंकर सिंह ने यह आरोप लगाया है कि दिल्ली में आंदोलन कर रहे लोग किसान नहीं बल्कि किसान विरोधी हैं ।
किसान आंदोलनकारियों पर उत्तर प्रदेश परिवहन मंत्री का विवादित बयान :
बलिया में सोमवार की शाम मीडिया से बातचीत के दौरान उत्तर प्रदेश सरकार में परिवहन राज्यमंत्री दयंशंकर सिंह ने दिल्ली में हो रहे किसानों के प्रदर्शन पर रास्ते में कील और दीवार खड़ी कर के रोक लगाने के मामले पर सरकार का बचाव करते हुए कहा है कि –
“भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के राज्य में जितना किसानों का भला हो रहा है इसके पहले किसी भी सरकार में इतना नहीं हुआ, किसानों के खाते में सीधे पैसे पहुंच रहे हैं, पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी के सपनों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी साकार कर रहे हैं, हर खेत को पानी और हर हाथ को काम दिया जा रहा है.” उन्होंने आरोप लगाया है कि “आंदोलन कर रहे लोग किसान विरोधी लोग हैं, यह लोग किसानों की आय को दोगुनी नहीं होने देना चाहते हैं तथा किसानों को खुशहाल नहीं होने देना चाहते हैं, ये ऐसे लोग हैं।”
दिल्ली और पंजाब के मुख्यमंत्री के अयोध्या दौरे व राम लाल के दर्शन के सवाल पर उन्होंने कहा है कि “इसको मैं आस्था ही कहूंगा, क्योंकि अयोध्या सबको आना है, तथा जो भी सनातन संस्कृति को मानता है उसे अयोध्या में आकर अपने जन्म और जीवन को सार्थक करना ही पड़ेगा।”
वहीं सपा अध्यक्ष व नेता विरोधी दल अखिलेश यादव के अयोध्या आने के सवाल पर उन्होंने कहा कि “अखिलेश यादव को प्रायश्चित करने का एक अवसर मिला था, जिसे उन्होंने गवा दिया है ।”
उन्होंने आरोप लगाया है कि “उनकी (समाजवादी पार्टी की) सरकार ने राम भक्तों पर गोलियां चलवाई थीं, उन्हें भगवान श्री राम के सामने आकर अपने कर्मों का प्रायश्चित करना चाहिए था तथा अपने जन्म और जीवन को सार्थक बनाने के लिए आशीर्वाद लेना चाहिए था।”
वहीं कांग्रेस की भारत जोड़ो नया यात्रा पर अखिलेश के साथ के सवाल पर परिवहन राज्यमंत्री ने तंज कहते हुए कहा कि “यह लोग पहले भी एक साथ चुनाव लड़ चुके हैं, आपने देखा होगा कि उत्तर प्रदेश के दो युवाओं की एक जोड़ी बनी थी, राहुल और अखिलेश जी दोनों मिलकर भी चुनाव लड़े तब भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की लहर को रोक नहीं पाए । अखिलेश जी अपने घोर विरोधी मायावती को 2019 में साथ लेकर चुनाव लड़े फिर भी मोदी जी की लहर को रोक नहीं पाएं और इस बार तो मोदी जी की सुनामी बहेगी और सुनामी में यह लोग बह जाएंगे । यात्रा में उनके साथ से कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है।”